छत्तीसगढ़ खबर डेस्क खबर 24×7 खैरागढ़ // इंदिरा कला संगीत विवि में नियुक्तियों को लेकर राजभवन से मिले पत्र के आधार पर जारी कारण बताओ नोटिस का निर्धारित समय में वाजिब जवाब नही देने पर विवि प्रशासन ने तीन कर्मचारियों को निलंबित कर दिया है।
यह विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार हुआ है कि एक साथ अधिकारी संवर्ग के तीन कर्मचारियों को विश्वविद्यालय प्रशासन ने निलंबित किया है, इस कार्रवाई के बाद विश्वविद्यालय सहित खैरागढ़ के राजनीतिक हलकों में भी गहमा-गहमी बनी हुई है।
🟥 कारण बताओ नोटिस जारी कर माँगा था जवाब
जानकारी अनुसार इंदिरा कला संगीत विश्वविद्यालय में नियुक्तियों को लेकर राजभवन से मिले पत्र के आधार पर 31 जनवरी को विजय कुमार सिंह, दीपशिखा पटेल और मंगलानंद झा की क्रमशः सहायक कुलसचिव, सहायक प्राध्यापक लोकसंगीत विभाग और सहायक प्राध्यापक इतिहास विभाग के पद में नियुक्ति को लेकर प्रथम दृष्टया गंभीर अनियमितता मानते हुए विवि प्रशासन ने 6 मई को कारण बताओं नोटिस जारी कर जवाब मांगा था।
जिस पर निर्धारित तिथि तक जवाब नही देने पर दोबारा दो दिन का अतिरिक्त समय देकर कारण बताओं नोटिस का स्पष्ट उत्तर मांगा गया, लेकिन तीनों के जवाब को विवि प्रशासन की कारवाई पर प्रश्र चिन्ह, कार्यालय को भ्रमित करने और प्रकरण की दिशा भटकाने के उद्देश्य से जांच मे सहयोग नही करने का दोषी मानते हुए छग सिविल सेवा नियम के तहत 28 मई को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
🟥 अब जवाब की जगह मांगा दस्तावेज
निलंबन आदेश में कुलसचिव प्रो नीता गहरवार ने तीनों कर्मचारियों के खिलाफ काफी कड़े शब्दों का प्रयोग करते हुए लिखा है कि कारण बताओं नोटिस का स्पष्ट जवाब देने की जगह उनके द्वारा सशर्त दस बिंदुओं में विवि प्रशासन से दस्तावेज मांगना अशिष्टता, उद्दंडता और अनुशासनहीनता का द्योतक है। तीनों कर्मचारियों का यह कृत्य सिविल सेवा आचरण के अलग अगल नियमों के उल्लंघन की श्रेणी का है।
🟥 कुलसचिव कार्यालय में अटैच
कुलसचिव प्रो नीता गहरवार ने 28 मई को जारी निलंबन आदेश में विजय कुमार सिंह को अपना प्रभार डॉ मानसदा साहू को, दीपशिखा पटेल को विभाग के विभागाध्यक्ष और डॉ मंगलानंद झा को प्राचीन भारतीय इतिहास संस्कृति व पुरातत्व विभाग के विभागाध्यक्ष को सौंपने का आदेश दिया है और तीनों को कुलसचिव कार्यालय में अटैच कर दिया है जबकि विवि में इनफार्मेशन साइंटिस्ट के पद पर पदस्थ जे मोहन को भी नियुक्ति में अनियमितता मामले में नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया है।
🟥 कत्थक की डिग्री..लोक संगीत में मिली नियुक्ति..भर्ती प्रक्रिया का नहीं पालन..
कुलसचिव ने लोक संगीत विभाग में असिस्टेंट प्रोफेसर पद के लिए पद के लिए संबंधित विषय में 55 प्रतिशत अंकों के साथ नेट/स्लेट/सेट परीक्षा उत्तीर्ण होना चाहिए था लेकिन पदस्थ असिस्टेंट प्रो डॉ दीपशिखा पटेल ने एमार कत्थक की परीक्षा साल 2005, नेट कत्थक की परीक्षा 2006, पीएचडी कत्थक 2012 में पूरा किया और साल 2014 में एमए लोक संगीत की परीक्षा उत्तीर्ण की और मात्र इसी डिग्री के आधार पर उनकी नियुक्ति कर दी गई है। वहीं हिस्ट्री ऑफ आर्ट एंड कल्चर में व्याख्याता के पद पर पदस्थ डॉ मंगलानंद झा की नियुक्ति को भी बिना भर्ती प्रक्रिया का पालन किए गए, असिस्टेंट रजिस्ट्रार विजय सिंह की नियुक्ति ऑस्ट्रेलिया के विवि से एमबीए की डिग्री और इन्फॉर्मेशन साइंटिस्ट के पद पर पदस्थ जे मोहन से सहायक ग्रेड 3 के पद से निर्धारित समय पर त्यागपत्र नही देने को लेकर जवाब मांगा गया था।